Tag: Amritlal Nagar
किताब अंश: ‘सुहाग के नुपूर’ – अमृतलाल नागर
हिन्दी के मशहूर साहित्यकार अमृतलाल नागर का जन्म 17 अगस्त 1916 को हुआ था। उन्होंने नाटक, रेडियोनाटक, रिपोर्ताज, निबन्ध, संस्मरण, अनुवाद, बाल साहित्य आदि...
मैं लेखक कैसे बना
'टुकड़े-टुकड़े दास्तान' से
अपने बचपन और नौजवानी के दिनों का मानसिक वातावरण देखकर यह तो कह सकता हूँ कि अमुक-अमुक परिस्थितियों ने मुझे लेखक बना...
प्रायश्चित
जीवन वाटिका का वसंत, विचारों का अंधड़, भूलों का पर्वत, और ठोकरों का समूह है यौवन। इसी अवस्था में मनुष्य त्यागी, सदाचारी, देश-भक्त एवं...
धर्म संकट
यह कहानी एक पहेली है, जिसे किसी इंसान को पारम्परिक सामाजिक मानदंडों पर तौलते हुए नहीं सुलझाया जा सकता। एक तरफ अधिकार है और दूसरी तरफ न्याय। पढ़िए और सोचिए कि अगर आपको रायबहादुर का अंतिम ख़त मिला होता तो आप क्या करते?
हाजी कुल्फीवाला
हाजी कुल्फीवाला एक व्यक्ति-प्रधान कहानी है! हाजी साहब का जीवन चक्र ऊंचाइयों से लेकर निराशा के गर्त तक जा पहुँचता है, लेकिन फिर हिम्मत और उम्मीद का हाथ पकड़कर हाजी साहब अपने उसी व्यक्तित्व और साख को पा लेते हैं, जो बरसों पहले हुआ करती थी!