Tag: Lal Pan Ki Beghum

Phanishwarnath Renu

लाल पान की बेगम

बिरजू की माँ हँस कर बोली, "ताखे पर तीन-चार मोटे शकरकंद हैं, दे दे बिरजू को चंपिया, बेचारा शाम से ही..." "बेचारा मत कहो मैया, खूब सचारा है..." अब चंपिया चहकने लगी, "तुम क्या जानो, कथरी के नीचे मुँह क्यों चल रहा था बाबू साहब का!" "ही-ही-ही!"
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