Tag: Monalisa
मसानी बैराग
शान्त मौन ठहरा सा
जड़, प्राणहीन काला लिबास
डब्बे में बन्द
केवल शरीर
लोगों की भीड़
धीरे धीरे सरकती
फुसफुसाती, इशारों में बढ़ती
अन्तिम यात्रा
शास्त्रों का भार
रटी हुई पंक्तियाँ
यन्त्रवत विलाप
मसानी बैराग...