Tag: Shilpi Diwaker
गुड्डे का जन्मदिन
कहो तो! तुम और मैं
कैसे तुम्हारा जन्मदिन मना लें?
चलो! चाँद से कुछ गप्पे करें
सितारों की महफ़िल सजा लें।
बन जाएँ फिर से हम
गुड्डा और गुड़िया
चलो! लें...
आओ सीखें गणगान
आओ करें गण का गुणगान,
गणतंत्र की हम समझें शान।
सन सैंतालीस में हुए आज़ाद,
पचास में पाया पूरा सम्मान।
हमारा अब अपना संविधान,
देश नहीं अब रहा गुलाम।
चुनते हैं हम...
सीख ले भैया
डोरी को तू ढील दे भैया
पतंग जोर से खींच ले भैया।
रंग बिरंगी पतंग उड़ रहीं
पेंच लड़ाना सीख ले भैया।
जाड़ा बहुत कड़क पड़ा है
मन को...
अनुवाद तुम
आँखों की नमी
प्रेम की भाषा है।
भाषा एक नदी है,
नदी पानी का अनुवाद।
अनुवाद दो किनारों का
संवाद है,
संवाद के लिए
जरूरी नहीं भाषा।
प्रेम की एक ही
भाषा है,
'तुम'...
प्रार्थनाएँ
स्वयं से संवाद में
आकार लेती हैं,
प्रार्थनाएँ मन की
थाह लेती हैं।
उगती है दिल की
कच्ची ज़मीं पर,
प्रार्थनाएँ अंधेरों में
पनाह लेती हैं।
उसके रचे से बचे
के लिए होती...
कहावतें सब जगबीती
मुहावरों का संसार अनोखा
अर्थ अलग हैं असर है चोखा।
आओ जलायें दिमाग की बत्ती,
बूझें हम सब इनको रत्ती-रत्ती।
बच्चे सबकी आँख के तारे।
सबके कर देते हैं...
सूरज दादा
सूरज दादा निकला भाई,
अँधेरों की हुई पिटाई।
धरती का स्कूल खुल गया,
मुर्गे ने जब बाँग लगाई।
पेड़ सब सावधान हो गए,
कोयल ने जब सीटी बजाई।
चिड़ियों ने...
किताब
पलटती हूँ कभी जब
सफ़हे क़िताब के
हर्फ़ दर हर्फ़
खुलती जाती है
कायनात
और मैं
खो जाती हूँ
रोज़ शब
होता है उजाला
मेरी क़िताब के
माहताब से
अल्फ़ाज़ बना देते है
नींद का बिछौना
और...