‘Aankh’, a poem by Santosh Alex
चश्मेवाला डाक्टर ने
जाँचने के बाद कहा
जिनके आँख हैं वे देखें
जिनके कान हैं वे सुनें
मेरे मित्र की
एक आँख छोटी है
वह दुनिया को असंतुलित पाता है
माँ की आँखें
प्यार और दीनता भरी हैं
पिताजी की आखें
दिल की गहराइयों तक उतरती हैं
दृष्टि की सार की खोज में
मैंने प्रेमिका की आँखों में डुबकी लगायी
और दिन दहाड़े अँधा हो गया…