Tag: Badri Narayan Chaudhary ‘Premghan’

Premghan

समाचारपत्र या अखबार किसे कहते हैं?

"देश व जातियों में एकता के उत्पन्न करने की अौर फूट के फल के सेवन से उत्पन्न रोगमात्र की एकमात्र औषधि और राजा और प्रजा के बीच की सत्य इच्छा और दुख-सुख तथा प्रसन्नता और अप्रसन्नता प्रगट करने का एक उत्तम सम्बन्ध है" यह निबंध 1938 में लिखा गया था और आज 80 सालों में ही समाचारपत्रों या अखबारों की परिभाषा बदलती नज़र आ रही है.. यह लोकतंत्र की विडंबना है या एक अस्थायी भटकाव!
samay - badri narayan chaudhary premghan

समय

'समय' - बद्रीनारायण चौधरी ‘प्रेमघन’ काव्यशासस्त्र विनोदेन कालो गच्छति धीमताम। व्यसनेन च मूर्खाणां निद्रया कलहेन वा॥ यह विख्यात है कि त्रिभुवन में विजय की पताका फहराने वाला,...
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