Tag: Nidhi Gupta Rani

सभी लड़कियाँ शिकार हो जाती हैं

दिल्ली की भागम-भाग भीड़ में कितना कुछ भागता है न समय लोग बसें कारें मन पर इसमें उनका भागना अलग ही है एकदम अलग उनको देख ऐसा लगता है जैसे जंगल से सभ्यता...
Woman, Painted on Face, Dead Corpse Bride

नगरवधू

भीमकाय चट्टान टूट कर बन गए है रेत रेत का ज़र्रा-ज़र्रा फिसल रहा है मेरी भींची मुट्ठी से जैसे फिसलता है कदम जमी काई पर... किसी रोज मैंने उसे...
Book, Flower, Heart, Love

तीनों किसी का चित्त मोहने के लिए पर्याप्त हैं

तुम मेरे हिस्से में किसी कहानी के उदास प्रेमी के किरदार की तरह रहे जिसका प्रेम कभी दिखा ही नहीं दिखी तो बस कर्मठता पूरी निष्ठा...
Birsa Munda

‘हम’ जंगल के आदम

और किसी कवि की कविताई में नहीं दिखते हम- किसी कहानी के किरदार किसी राह के राही किसी अजनबी के लिए कोई चेहरा किसी बस की सवारी या किसी प्रेमिका के प्रेमी इनमें...

नूतन अध्याय

ये हाथ पकड़ना और छुड़ाना क्या है क्या है ये तेरा मुस्कुराना और रूठ जाना हर पल तेरा यूँ अलग हो जाना कभी पास तो दूर हो जाना क्यों? तुम गणित के...

चलो बच्चे बन जाते हैं

चलो एक बार फिर से बच्चे बन जाते ..! जहाँ सिर्फ़ हमारी मनमानी चलती हो.. हमसे कोई उम्मीद न हो.. कोई कभी ख़फा न हो.. जब मिट्टी से सन...
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